उत्तराखंडदेहरादून

मुस्लिम संस्थाओ व रीति-रिवाजो को निशाना बनाया जा रहा : शहर क़ाज़ी।

शिक्षकों के समर्थन में दो दिन काली पट्टी बांधकर किया जाएगा कार्य।

देहरादून : उत्तराखण्ड में मुस्लिम शिक्षण संस्थाओ व समाज के रीति-रिवाजो को निशाना बनाया जा रहा है, जो अनुचित है। यह बात बुधवार को जामा मस्जिद पलटन बाजार में आयोजित बैठक में शहर काजी मौलाना मुहम्मद अहमद कासमी ने कही। उन्होने कहा कि हाल के दिनों में शासन-प्रशासन और कुछ आयोगों की और से जांच के नाम पर मुसलमानों को प्रताड़ित किया जा रहा है।
कहा कि विगत 29 जुलाई को राज्य बाल अधिकार संरक्षण आयोग की अध्यक्ष डॉ. गीता खन्ना की और से एक मदरसे का दौरा किया गया, जहा उन्होने पवित्र स्थान की बे-अदबी की है, जो निन्दनीय है।
बैठक में फैसला लिया गया है कि राज्य बाल अधिकार संरक्षण आयोग की अध्यक्ष डॉ. गीता खन्ना के कृत्य के खिलाफ आंदोलन कर रहे राज्य शिक्षकों के समर्थन में दो दिन तक काली पट्टी बांधकर कार्य किया जाएगा। इसके अलावा उत्तराखंड के राज्यपाल, मुख्यमंत्री और मुख्य सचिव से मुलाकात कर समस्याओं से अवगत कराया जाएगा। डॉ. गीता खन्ना की शिकायत करने के साथ ही कानूनी करवाई करने के लिए विधिक राय ली जाएगी। इस दौरान जामियत उलेमा हिन्द के अध्यक्ष मुफ़्ती रईस अहमद कासमी मुस्लिम सेवा संगठन के अध्यक्ष नईम कुरैशी उपाध्यक्ष आकिब कुरैशी हाफ़िज़ हासिम उमर कारी अब्दुल समद मौलाना मन्नान मास्टर अब्दुल सत्तार और बडी संख्या में मुस्लिम उलेमा आदि मौजूद रहे।

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मुख्य सचिव से मिला प्रतिनिधिमंडल
देहरादून। शहर काजी देहरादून मौलाना मुहम्मद अहमद कासमी के नेतृत्व में एक प्रतिनिधिमंडल ने बुधवार को उत्तराखण्ड में निवास कर रहे मुस्लिमो के सामने आने वाली विभिन्न समस्याओं को लेकर मुख्य सचिव राधा रतूडी से सचिवालय में मुलाकात की। शहर काजी ने कहा कि उत्तराखण्ड कौमी एकता का प्रतीक रहा है एवं विषम परिस्थतियों में भी यहाँ की जनता ने एक दूसरे का साथ नहीं छोडा व भाईचारे की मिसाल प्रस्तुत की, मगर कुछ समय से ऐसा प्रतीत होता है जैसे मुस्लिम संस्थाओ व उनके रीति-रिवाजो को निशाना बनाया जा रहा है। हाल ही में बाल अधिकार संरक्षण आयोग की अध्यक्ष डॉ. गीता खन्ना की और से मदरसा शिक्षको को अपमानित किया गया। जिस कारण मदरसा प्रबन्धकों में भय व्याप्त है व मदरसा छात्र अधिकारियों के व्यव्हार से आतंकित है। मदरसा छात्रों में उनके भविष्य को लेकर भय व्याप्त है। मदरसों की जांच के नाम पर मदरसा प्रबन्धको को प्रताडित किया जा रहा है उस पर तत्काल रोक लगाई जाये। वहीं, हल्द्वानी प्रकरण की जांच सेवानिर्वत न्यायधीश से कराई जाने की मांग की गई है। प्रतिनिधिमंडल में शहर काजी के अलावा जमीअत के जिला अध्यक्ष मुफ्ति रईस अहमद कासमी व मुस्लिम सेवा संगठन के अध्यक्ष नईम कुरैशी आदि शामिल रहे।

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